गिफ्ट के बदले भैया मुझे बिस्तर पर ले गए

गिफ्ट के बदले भैया मुझे बिस्तर पर ले गए ये मेरी पहली कहानी है हमारी वासना डॉट नेट पर मैं कई कहानियां पढ़ी है इस वेबसाइट पर तो आज मुझे भी लगा की मैं भी अपनी सेक्स कहानी आप सभी सेक्स कहानी के पाठक के साथ शेयर करूँ। मैं भी मजे लेती हूँ आपकी कहानी पढ़कर तो आज मैं भी आपको अपनी कहानी सुनाऊँगी। पहले तो लग रहा था मैं ये बात किसी और से शेयर नहीं करूँ क्यों की ये घर की चुदाई का मामला है और वो भाई बहन भाई के सेक्स सम्बन्ध के बारे में। पहले ये भी सोच रही थी की शायद ये मैं भी गलत की पर जब इस वेबसाइट पर आकर कहानियां पढ़ी. तो ऐसा लगा की मैं ही सिर्फ नहीं हूँ जो बहन भाई से सेक्स सम्बन्ध बना है और भी कई लड़कियों की कहानियां पढ़ी। तब जाकर लगा की मुझे भी अपनी सेक्स कहानी शेयर करने चाहिए। तो ये लीजिये हाजिर है मेरी से सेक्स कहानी। मेरा नाम पल्लवी है। मैं एक बैंक में काम करती हूँ। मैं अभी कुंवारी हूँ। मेरी शादी नहीं हुई मैं मैं किराए पर ही रहती हूँ। उत्तर प्रदेश के एक शहर में मैं इस शहर का नाम नहीं बताउंगी। और मेरे भैया गुडगाँव की एक कंपनी में काम करते हैं और मम्मी पाप...

सगी चाची को उनके मायके में जाकर होदा


सगी चाची को उनके  मायके में जाकर होदा

एक बार मेरी चाची की अम्मा की अचानक तबीयत खराब हो गई और चाची को अपने घर जाना था.
मेरे चाचा का कुछ पता नहीं रहता वो पीकर कहां पड़े थे.

मेरी मम्मी ने मुझसे कहा- राज बेटा, तू चाची को घर छोड़कर आ जा. नानी की तबीयत ठीक नहीं है.
मैंने कहा- ठीक है.
और मैं तैयार हो गया.

चाची ने एक बैग लिया और बाइक लेकर हम दोनों आ गए दोपहर के 3 बजे हम चाची के घर पहुंच गए.
नानी का इलाज करवाने में शाम हो गई.

​​

चाची ने मम्मी को फोन किया दीदी राज आज रात यहीं रूक जाएगा.
मम्मी ने कहा- ठीक है. देख लो. अगर अम्मा की तबीयत ठीक न हो तो राज को रोक लेना. वो तुम्हारी हैल्प करेगा.

शाम को हमने खाना खाया और मैं दूसरे रूम में सोने चला गया.

नानी के घर में दो कमरे हैं, एक में नानी और चाची लेट गई.

मुझे नींद नहीं आ रही थी तो मैं कहानी पढ़ने लगा और अपना हंड  सहलाने लगा.
मैं पूरा नंगा हो कर अपने काम में लगा हुआ था.

थोड़ी देर बाद चाची आ गई, मैंने ध्यान नहीं दिया.
चाची ने एकदम से मेरे हण्ड  को पकड़ लिया.

मैं हड़बड़ा गया.
मैंने पूछा- आप यहां?
वो बोली- अम्मा दवा खाकर सो गई है.

मैंने कहा- वो जाग गई तो?
चाची बोली- मैंने अम्मा को बोल दिया कि मैं राज के कमरे में सो जाऊँगी.

अब चाची ने अपनी साड़ी ब्लाउज उतार दिया और ब्रा पैन्टी में मेरे बिस्तर पर आ गई.

मैं पहले से नंगा हो गया था और अब चाची ने मेरे हण्ड  को सहलाना शुरू कर दिया.

मैंने अपना फोन टेबल पर रख दिया और चाची की ब्रा खोल दी अब उसके दूध  मसलने लगा.

चाची ने अपने मुंह में हण्ड  डालकर हुसना शुरू कर दिया. मैं झटके लगाने लगा, अब चाची के गले तक हण्ड  जाने लगा.

कुछ ही देर बाद मैंने चाची की पैंटी उतार दी और चाची को लिटा दिया.
हम दोनों 69 की पोजीशन में आ गए और एक-दूसरे के अंगों को हुसने लगे.

हमें रोकने वाला कोई नहीं था और अब हम दोनों गर्म हो गए थे.

मैंने चाची को नीचे लिटा दिया और ऊपर चढ़कर छूत में हंड  घुसा दिया और अंदर बाहर करने लगा. होंठों पर होंठ रख कर होदना शुरू कर दिया.
अब चाची अपनी गांड उठा-उठा कर मेरा साथ देने लगी.

आज की रात हम दोनों की रात थी.

अब मैंने चाची की एक टांग उठा कर होदना शुरू कर दिया.
‘आहहह ऊहह अहह म्मह’ करके चाची हण्ड  ले रही थी.

अब मैं भी जोश में आ गया और तेज़ तेज़ झटके लगाने लगा.

हमने पहले भी हुदाई की थी लेकिन घर में डर रहता था. आज हम बिंदास होकर हुदाई का पूरा मज़ा ले रहे थे.

अब चाची ने अपनी टांग चौड़ी कर दी और पलंग के नीचे झुककर खड़ी हो गई; मैं पीछे से अपना हंड  डालकर होदने लगा.

थोड़ी देर बाद चाची ने पानी छोड़ दिया अब हण्ड  फच्च फच्च करके फिसलता हुआ बच्चादानी तक जाने लगा.
चाची की सिसकारियां तेज़ हो गई थी.

अब मैंने अपने होड़ऐ  को तेजी से अंदर-बाहर करना शुरू कर दिया. थप थप थप थप फच्च फच्च फच्च की आवाज कमरे में गूंजने लगी.

हम दोनों अब यह भी भूल गए कि बगल के कमरे में नानी सो रही थी.

एक बार फिर चाची ने अपनी छूत की पकड़ मजबूत कर ली और मेरा हंड  भी एकदम से रफ्तार में आ गया.
मैं चाची की दूध  को मसलते मसलते झटके लगाने लगा. अब दोनों तरफ से बराबर झटके लगने लगे थे.


एकदम से चाची भतीजा दोनों के शरीर अकड़ गए और एक साथ पानी छोड़ दिया.

मैं चाची के ऊपर गिर गया. मेरा हंड  अब तक चाची की छूत में घुसा हुआ था.

थोड़ी देर बाद दोनों अलग हुए चाची ने हण्ड  हुस कर साफ़ कर दिया.
चाची ने चादर ओढ़ ली नानी के रुम चली गई.

थोड़ी देर बाद चाची आई और बोली- राज, अम्मा पर दवा का असर है. वो गहरी नींद में सो रही है.

यह सुनकर मैंने चाची को अपनी तरफ खींच लिया और उसके होठों को हुसने लगा; उसकी दूध  को दबाने लगा.
मैंने उसकी दोनों दूध  को अपने मुंह में लेकर हुसना शुरू कर दिया.

अब चाची ने अपनी छूत खोल दी और लेट गई.
मैंने देर ना करते हुए अपनी जुबान छूत में लगा दी; मैं चाची की छूत को चाटने लगा, उसमें जीभ घुसा कर होदने लगा.

हम दोनों गरम हो गए थे. मैंने चाची को हण्ड  पर बैठने को कहा, वो झट से छूत रखकर बैठ गई.
पूरा हण्ड  आसानी से अंदर चला गया.

‘आहह उम्म्ह हहह आओहह’ करके चाची अपनी कमर ऊपर नीचे करने लगी.

पलंग से आवाज आने लगी और चाची हण्ड  पर उछल उछल कर हांड़ पटकने लगी.

मैंने चाची को घोड़ी बनाया और होदने लगा अब हण्ड  सटा सट सटा सट अंदर बाहर होने लगा.
चाची की दोनों दूध  को पकड़ कर होदने लगा. अब चाची सिसकारियां भरने लगी और बोली- राज, और तेज़ होद मुझे! आज अपनी चाची की छूत फ़ाड़ दे! आहह होद मुझे … ओहह अआह!

अब मैं जोश में आ गया और तेज़ी से अंदर-बाहर करने लगा. चाची अपनी हांड आगे पीछे करने लगी और आहहह आहहह करके मस्ती में हंड  लेने लगी.

चाची की छूत ने पानी छोड़ दिया.
अब मैं अपनी रफ़्तार से होदने लगा, छूत से पानी बाहर निकलने लगा और चाची की जांघों पर आने लगा.
अब गीला हण्ड  फच्च फच्च फच्च की आवाज करने लगा.

मैंने चाची को घोड़ी बना दिया और उसकी हांड  में हंड  फेरने लगा.
तभी चाची की गांड में थूक लगाया और हण्ड  को अंदर घुसा दिया.
उसकी ‘आहहह ऊईईईई ऊईईई’ चीख निकल पड़ी.

मैंने उसकी दूध  को सहलाना शुरू कर दिया और हण्ड  धीरे धीरे अंदर बाहर करने लगा.

थोड़ी देर बाद चाची ने अपनी हाड की रफ्तार बढ़ा दी और तेज़ी से हण्ड  अंदर बाहर होने लगा.
अब हाड की थप थप थप थप की आवाज़ कमरे में भरने लगी.

आज चाची बिल्कुल भी नहीं डर रही थी और अपनी सिसकारियों की आवाज़ तेज करती जा रही थी.

अब मेरा हंड  अपने आप तेज़ हो गया और झटके के साथ पानी छोड़ दिया.
मैं चाची के ऊपर चिपक कर लेट गया हण्ड  को छूत से निकाल लिया.

हम दोनों एक-दूसरे से लिपटकर किस करने लगे और पता नहीं चला कब दोनों को नींद आ गई.
दोनों नंगे बदन एक दूसरे को बांहों में लेकर सो गए थे.

सुबह अचानक चाची की नींद खुली तो उसने मुझे जगाया फिर हम दोनों एक साथ बाथरूम गए.
वहां से आकर दोनों किस करने लगे और एक दूसरे के अंगों को सहलाने लगे.

अब चाची ने हण्ड  हुसना शुरू कर दिया और उसकी दूध  को मसलना मैंने शुरू कर दिया.
मैंने चाची को लिटा दिया और होदने लगा; हण्ड  गपागप गपागप अंदर बाहर करने लगा. अब चाची की छूत में हंड  आराम से जाने लगा था.

हम दोनों एक-दूसरे को पागलों के जैसे चूमने लगे, मैंने उसकी दूध  को मुंह में भर लिया और हुसने लगा.
अब चाची ने कहा- राज, आज तुम मुझे अपनी गोद में उठा कर होदो.

मैंने चाची को गोद में उठाया और झटके लगाने लगा. अब उसकी बड़ी बड़ी दूध  हवा में झूलने लगी.

चाची ‘आहहह उम्माह हह आहहह राज … और तेज़ होदो मुझे!’ चिल्लाती रही और मैं झटके पे झटके लगाने लगा.

फिर चाची को मैंने पलंग पर झुका दिया और होदने लगा. वो भी अपनी कमर हिला हिला कर हण्ड  का स्वाद ले रही थी.

अब चाची ने हण्ड  को छूत में दबा लिया और पानी छोड़ दिया. मैंने अपने होड़ऐ  को रफ्तार से अंदर-बाहर करना शुरू कर दिया.

एक बार फिर चाची को लिटाकर मैंने उनके ऊपर आ गया और हंड  घुसा दिया. गीला हण्ड  चाची की छूत में आसानी से अंदर बाहर होने लगा था.

आज मैं चाची को उसी के घर में बिना किसी डर के होद रहा था; हम दोनों एक-दूसरे को चरम सुख दे रहे थे.

धीरे धीरे दोनों की सिसकारियां तेज़ हो गई और दोनों ने अपनी रफ़्तार बढ़ा दी. झटके पे झटके लगने लगे और थप थप थप थप की आवाज़ तेज हो गई.

चाची ने और मैंने पानी छोड़ दिया और थककर लेट गए.

दोनों बातें करने लगे और हुदाई की थकान से दोनों को नींद आ गई.

सुबह अचानक से नानी की आवाज आई तो मेरी नींद खुली. हम दोनों नंगे एक-दूसरे से चिपक कर लेटे हुए थे.
मैंने चाची को जगाया.

नानी ने फिर से आवाज दी.
मैंने अपनी अंडरवियर और बनियान पहन ली और नानी के पास चला गया.



थोड़ी देर बाद चाची भी आ गई.

फिर चाची ने सबको चाय पिलाई और हम सब अस्पताल पहुंच गए, वहां नानी का इलाज करवाया. शाम को घर आ कर खाना खाया और नानी के सोने के बाद चाची मेरे पास आ गई.

उस रात भी हमने 4 बार जमकर हुदाई की और अगले दिन 10 बजे मैं घर के लिए निकल पड़ा.

इस तरह मैंने अपनी चाची को उसके मायके में दो रात जमकर होदा.


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